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बुधवार, 23 दिसंबर 2020

आ तेरे इश्क़ में क़ुर्बान हो जाऊं।



आ! तेरे इश्क़ में क़ुर्बान हो जाऊं,
तू चाँद,   मैं आसमान हो जाऊं। 

आ! तेरे इश्क़ में क़ुर्बान हो जाऊं,
तू चाँद,   मैं आसमान हो जाऊं। 

मेरी आगोश में सोती रहे तू, सिर रखकर,
मैं जंग-ए-जमाने में लहूलुहान हो जाऊं।। 
      ..........अवध कुमार✍️

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